किसान बिल के विरोध में शिरोमणि अकाली दल ने NDA छोड़ने का ऐलान किया

संसद में पास हुए किसान बिल को लेकर लगातार विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। पंजाब के किसान इस बिल को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। इस विरोध को देखते हुए पंजाब की बीजेपी की सबसे पुरानी सहयोगी पार्टी शिरोमणि अकाली दल ने NDA का साथ छोड़ने का फैसला किया है। शिरोमणि अकाली दल किसान बिल को लेकर शुरुवात से ही विरोध कर रहा है। शिरोमणि अकाली दल के नेता सुखबीर सिंह ने आज प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इसका एलान किया कि अब उनकी पार्टी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन का हिस्सा नहीं है। सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि हमारी पार्टी के सभी सदस्यों ने मिलकर यह फैसला किया कि अब हम इस गठबंधन में नहीं रहेगें।

बतादें कि जब केंद्र की मोदी सरकार कृषि क्षेत्र में अध्यादेश ला रही थी तभी NDA में दरार पड़ने लगी थी। उसी समय शिरोमणि अकाली दल इन अध्यादेशों के खिलाफ विरोध दर्ज कराया था। इसके बावजूद जब बीजेपी ने यह बिल संसद से पास कराया तो शिरोमणि अकाली दल ने इसके खिलाफ वोट किया था। इसके साथ ही शिरोमणि अकाली दल की नेता हरसिमरत कौर बादल ने अपने कैबिनेट मंत्री पद से स्तीफा दे दिया था।

उस समय केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण मंत्री हरसिमरत कौर बादल ने ट्वीट कर लिखा था कि, “मैंने किसान विरोधी अध्यादेशों और कानून के विरोध में केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया है. किसानों के साथ उनकी बेटी और बहन के रूप में खड़े होने पर गर्व है.”

हरसिमरत कौर बादल कहा था कि “मैंने देश और पंजाब के किसानों का साथ दिया। जो कई दिनों से सड़कों पर संघर्ष कर रहे हैं। हमारी मांग यही थी कि इस अध्यादेश को लेकर जो शंका है, उसे दूर किया जाए। आज मैं उस सरकार का हिस्सा नहीं होना चाहती, जिसने शंका को दूर किए बिना अध्यादेश पास करने का फैसला किया।

उस समय शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि कि हमने किसान की भावनाएं केंद्र सरकार को बताने की कोशिश की, परन्तु जब केंद्र सरकार ने किसान की शंका को दूर नहीं किया और तुरंत संसद में बिल लेकर आ गए तो हमारी पार्टी ने फैसला किया कि हम इसका विरोध करेंगे। उन्होंने कहा कि हमने फैसला किया की हरसिमरत कौर जी इस्तीफा देंगी और उन्होंने इस्तीफा दे दिया। पार्टी कोर कमेटी की बैठक जल्द होगी। अगला फैसला पार्टी द्वारा लिया जाएगा।

बतादें कि पंजाब के किसान ‘रेल रोको’ अभियान चला। यह विरोध प्रदर्शन किसान बिल के खिलाफ किया जा रहा है।