राष्‍ट्रपति ने स्‍वास्‍थ्‍यकर्मियों पर हिंसा को गैर-जमानती अपराध घोषित करने वाले अध्‍यादेश को मंजूरी दी

राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद ने स्‍वास्‍थ्‍यकर्मियों की सुरक्षा के लिए महामारी आपदा अधिनियम 1897 में संशोधन के अध्‍यादेश को मंजूरी दे दी है। अध्‍यादेश में हिंसा को संज्ञेय और गैर-जमानती अपराध बनाने और स्‍वास्‍थ्‍य‍कर्मियों को चोट के लिए मुआवजे का प्रावधान किया गया है। अध्‍यादेश में उत्‍पीडन, शारीरिक चोट और संपत्ति को नुकसान पहुंचाना हिंसा माना जाएगा।

कोरोना संकट के बीच हुई प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंत्रीमंडल की बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। सबसे महत्वपूर्ण निर्णय के तहत महामारी रोग अधिनियम, 1897 में संशोधन के लिए अध्यादेश लाने का फैसला किया गया। अध्यादेश पर हस्ताक्षर के साथ ही ये कानून का रूप ले लेगा। अध्यादेश में स्वास्थ्यकर्मियों पर हमला गैरजमानती अपराध की श्रेणी में रखा गया है जिसके तहत कड़ी सजा का प्रावधान किया गया है। मंत्रिमंडल ने कोरोना से लड़ रहे योद्धाओं के लिए 50 लाख का बीमा का प्रावधान किया है।