उत्तर प्रदेश में पिछले 24 घंटे में कोरोना सेे संक्रमित 3033 नए मामले आए

उत्तर प्रदेश में कोरोना के जितने मामले सामने आ रहे हैं उससे कहीं अधिक मरीज एक दिन में ठीक हो रहे हैं। उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने आज प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि उत्तर प्रदेश में पिछले 24 घंटे में कोरोना सेे संक्रमित 3,033 नए मामले आए हैं। प्रदेश में पिछले 24 घंटे में 3,662 व्यक्ति उपचारित होकर डिस्चार्ज किए गए हैं। अब तक कुल 3,97,570 लोग पूर्णतया उपचारित होकर डिस्चार्ज किए गए हैं। देश में रिकवरी का प्रतिशत अब बढ़कर 89.92 प्रतिशत हो गया है। प्रदेश में 38,038 कोरोना के एक्टिव मामले हैं।

अमित मोहन प्रसाद ने कहा कि कोविड-19 संक्रमण के केसों में विगत 26 दिनों से लगातार कमी आ रही है। प्रदेश में कल, एक दिन में कुल 1,51,367 सैम्पलों की जांच की गई। प्रदेश में अब तक कुल 1,21,92,619 सैम्पलों की जांच की गई है। उन्होंने कहा कि 17 सितम्बर को 68,000 से अधिक एक्टिव इन्फेक्शन के मामले थे, जिसमें वर्तमान में 30,000 से ज्यादा की कमी आई है। इस प्रकार वर्तमान में एक्टिव मामलों में 44 प्रतिशत से अधिक की कमी आई है।

अमित मोहन प्रसाद ने कहा कि प्रदेश के 1,38,720 क्षेत्रों में 4,16,013 सर्विलांस टीम दिवस के माध्यम से 2,69,22,819 घरों की 13,29,36,369 जनसंख्या का सर्वेक्षण किया गया है। चिकित्सकीय उपचार के लिए ई-संजीवनी पोर्टल शुरू किया गया है। ई-संजीवनी के माध्यम से 2,216 लोगों ने चिकित्सकीय परामर्श प्राप्त किया। अब तक कुल 1,35,027 लोगों ने ई-संजीवनी पोर्टल पर चिकित्सकीय परामर्श लिया है।

अमित मोहन प्रसाद ने कहा कि संक्रमण की संख्या में कमी आई है एवं संक्रमण से मृत्यु में भारी कमी आई है लेकिन संक्रमण समाप्त नहीं हुआ है। ऐसे में सतर्क रहना, सावधान रहना बहुत जरूरी है। ऐसा देखा जा रहा है कि यूरोपीय देशों सहित भारत के भी कुछ प्रान्तों में संक्रमण घटने के बाद पुनः बढ़ रहा है। संक्रमण की ‘सेकेण्ड वेव’ की स्थिति हमारे प्रदेश में न आए, इसके लिए हमें सावधान रहना होगा।

अमित मोहन प्रसाद ने कहा कि यदि किसी में कोरोना से संबंधित कोई भी लक्षण हैं तो तत्काल जांच करवाए, संकमण को लेकर मन में कोई हीनभावना न लाएं। यदि किसी दूसरे व्यक्ति को संकमण हो जाए तो उसके प्रति मन में कोई दुर्भावना न लाएं। बुजुर्गों, पहले से किसी बीमारी से ग्रस्त लोगों, बच्चों, गर्भवती महिलाओं को संक्रमण से बचाने के लिए उनका विशेष ध्यान रखें।