मरकज़ में शामिल 6 लोगों की मौत

दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित तब्लीगी जमात के मरकज़ में शामिल 6 लोगों की मौत गई है। मरकज के कार्यक्रम ने दिल्ली के साथ देश का हिस्सों दहशत पैदा है। यह समागम इस महीने की 13 से 15 तारीख तक दिल्‍ली में आयोजित हुआ था। तब्लीगी जमात के मरकज पर आयोजित इस आयोजन में 281 विदेशी नागरिकों समेत 19 प्रदेशों के 1800 से अधिक लोग शामिल हुए थे. इस जलसे में पुरे देश से लोग आये हुए थे।

तेलंगाना सरकार ने बताया है कि कोरोना का कारण मरकज़ में शामिल 6 लोगों की मौत हो गई है। कल देर रात जारी घोषणा में राज्‍य सरकार ने इस समागम से लौटे लोगों को सामने आने को कहा। ऐसे लोगों का नि:शुल्‍क उपचार किया जाएगा। सभी राज्य सरकारें मरकज में शामिल लोगों की तलाश में जुटी हैं।

दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने बताया कि इस कार्यक्रम के बाद भी करीब 1500-1700 लोग इस मरकज में जमा थे। अब तक इस मरकज से 1033 लोगों को निकाला जा चुका है और बाकी लोगों को भी निकालने का काम जारी है। निकाले गए लोगों में से 24 लोगों में कोरोना के संक्रमण की पुष्टि हो चुकी है। मरकज से निकाले गए लोगों में से 334 लोग अस्पताल में भर्ती हैं और बाकी के करीब 700 लोगों को क्वारंटाइन में रखा गया है।

इससे पहले, तेरह लोगों की जांच में कोरोना वायरस नहीं पाए जाने पर उन्‍हें अस्‍पताल से छुट्टी दे दी गई थी। इस बीच, लॉकडाउन के कारण आर्थिक संकट की आशंका को देखते हुए तेलंगाना सरकार ने कई वर्गों के वेतन में कटौती की घोषणा की है।

पुलिस की नाक के नीचे सब होता रहा, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। जैन ने बताया कि आयोजकों ने घोर अपराध की श्रेणी का काम किया है। दिल्‍ली सरकार ने कहा है कि वह निजामुद्दीन में मरकज में धार्मिक समागम का संचालन करने वालों के खिलाफ कडी कार्रवाई करेगी। सरकार ने कहा कि निजामुद्दीन के मरकज में सामाजिक दूरी और क्‍वारंटीन निर्देशों का पालन नहीं किया गया। दिल्‍ली सरकार ने कहा कि मरकज के प्रशासकों ने इन नियमों का उल्‍लंघन किया है और कई लोगों में कोरोना वायरस की पुष्टि हुई है।

घोर लापरवाही की इस हरकत ने कई लोगों का जीवन खतरे में डाल दिया है। सरकार ने कहा कि यह हर एक नागरिक की जिम्‍मेदारी है कि लॉकडाउन के दौरान इस तरह के लोगों के जमावड़ों से बचें। बयान में कहा गया है कि मरकज की यह हरकत आपराधिक कार्रवाई है।

बतादें कि देश में कोरोना वायरस तेजी से फैल रहा है। सोमवार शाम तक इसका संक्रमण 1215 लोगों तक फैल चुका था और खबर लिखे जाने तक 1251 मामलों की पुष्टि हो चुकी है। इनमें से 32 लोगों की मौत भी हो चुकी है।

लगातार उठ रहे सवालों के बीच मरकज़ ने अपने बचाव में दलील दी है कि जिसदिन लॉक डाउन का निर्देश हुआ तब जो लोग मरकज में बच गए थे, उन्हें निकालने के लिए वाहनों का इंतजाम किया गया था. इन वाहनों की लिस्ट दिल्ली पुलिस को दी गई थी, ताकि वाहन पास मिल पाएं.